Wednesday, October 23, 2019

ध्यान: अभ्यास हेतु निर्देश





आओ ध्यान करें! निर्देशों को सुनते जाएं और ध्यान करें..



Let's meditate! Listen to the instructions (in Hindi) and meditate..



#meditation #mindfulness #peace #happiness #Buddha #stressmanagement #ध्यान #आनापान #बुद्ध



आराम से बैठ जाएँ. पीठ सीधी, आखें बंद.
पूरा ध्यान अपनी सांस पर. आती सांस और जाती सांस पर निरंतर ध्यान रहे.
नाक के आसपास साँसों के आवागमन को महसूस करें. अन्दर आती सांस और बाहर जाती सांस के प्रति निरंतर सजग रहें.

अगर सांस लम्बी है तो जानें कि लम्बी है, अगर सांस छोटी है तो जानें कि छोटी है. केवल जानना है. सांस जैसी है, वैसी ही रहने दें. सांस को किसी प्रकार से नियंत्रित करने का प्रयास न करें.
यदि मन भटक जाये, तो अपना ध्यान वापस सांस पर लेकर आयें.

आँखें बंद रखते हुए, अपनी साँसों के प्रति पूर्णतः सजग होकर, अपने पूरे शरीर को मन ही मन देखें.
भीतर सांस लेते हुए, पूरे शरीर को महसूस करें. बाहर सांस छोड़ते हुए, पूरे शरीर को महसूस करें.
भीतर सांस लेते हुए, पूरे शरीर को शांत करें. बाहर सांस छोड़ते हुए. पूरे शरीर को शांत करें.
आती सांस और जाती सांस पर निरंतर ध्यान रहे. पूरा ध्यान पूरी सजगता से लगातार अन्दर आती सांस और बाहर जाती सांस पर.

अपनी संवेदनाओं पर ध्यान दें, संवेदनाओं के प्रति सजग रहें.
भीतर सांस लेते हुए, हर्ष महसूस करें. बाहर सांस छोड़ते हुए हर्ष महसूस करें.
भीतर सांस लेते हुए, सुख का अनुभव करें. बाहर सांस छोड़ते हुए सुख का अनुभव करें.
आती सांस और जाती सांस पर निरंतर ध्यान रहे.

अपनी मानसिक प्रक्रियाओं पर ध्यान दें, मानसिक प्रक्रियाओं के प्रति सजग रहें.
भीतर सांस लेते हुए, मानसिक प्रक्रियाओं के प्रति सजग रहें. बाहर सांस छोड़ते हुए, मानसिक प्रक्रियाओं के प्रति सजग रहें.
भीतर सांस लेते हुए, मानसिक प्रक्रियाओं को शांत करें. बाहर सांस छोड़ते हुए, मानसिक प्रक्रियाओं को शांत करें.
आती सांस और जाती सांस पर निरंतर ध्यान रहे.

अपने मन की ओर ध्यान दें. अपने मन के प्रति सजग रहे.
भीतर सांस लेते हुए, मन के प्रति संवेदनशील रहें. बाहर सांस छोड़ते हुए, मन के प्रति संवेदनशील रहें.
प्रसन्नचित्त होकर भीतर सांस लें, प्रसन्नचित्त होकर बाहर सांस छोडें.
मन को स्थिर करते हुए भीतर सांस लें, मन को स्थिर करते हुए बाहर सांस छोडें.
मन को मुक्त करते हुए सांस लें, मन को मुक्त करते हुए सांस छोडें.
आती सांस और जाती सांस पर निरंतर ध्यान रहे. अन्दर आती सांस और बाहर जाती सांस के प्रति निरंतर सजग रहें.

सभी भौतिक और मानसिक घटनाएँ अस्थायी हैं.
संसार अनित्य है, यह ध्यान करते हुए, भीतर सांस लें और बाहर सांस छोडें.
उदय होना और अस्त हो जाना प्रकृति का नियम है.
जीवन की नश्वरता पर ध्यान करते हुए, भीतर सांस लें और बाहर सांस छोडें.
संसार में दुःख है और दुःख से मुक्ति का मार्ग भी है.
सम-भाव रखते हुए, भीतर सांस लें और बाहर सांस छोडें.
कुशल कर्म संचित करें, अकुशल कर्मों का त्याग करें.
अकुशल कर्मों के त्याग पर ध्यान करते हुए, भीतर सांस लें और बाहर सांस छोडें.
आती सांस और जाती सांस पर निरंतर ध्यान रहे. अन्दर आती सांस और बाहर जाती सांस के प्रति निरंतर सजग रहें.


अंत में, सबके लिए मंगल कामना. सबका मंगल हो, सबका कल्याण हो. सभी सुखी हों. जल के, थल के और आकाश के सभी प्राणी निर्भय और निर्बैर हों, सभी प्राणी निरापद और निरामय हों. सबका मंगल हो, सबका कल्याण हो. सभी सुखी हों.
धीरे-धीरे आंखें खोलते हुए, ध्यान से बाहर आयें.

Based on the Anapanasati Sutta
Presented by Jagat Singh Bisht



Friday, October 18, 2019

SALAMBA SIRSHASANA: SUPPORTED HEADSTAND POSE





The headstand is one of the most important yogic asanas. The inversion in the final pose brings a rejuvenating supply of blood to the braincells.

Regular practice of this asana enhances clarity of thought, increases your concentration span, and sharpens memory.

#sirshasana #headstand #asana #yoga

Thursday, October 17, 2019

MEDITATION: MINDFULNESS OF BREATHING





INSTRUCTIONS FOR DAILY PRACTICE BASED ON THE ANAPANASATI SUTTA

Sit down with legs folded crosswise, back straight and eyes closed.
Always mindful, breathe in; mindful, breathe out.

FIRST TETRAD (BODY GROUP):
Be aware of your breath around your nostrils as you breathe in and as you breathe out.
Breathing in long, understand: I am breathing in long; breathing out long, understand: I am breathing out long.
Breathing in short, understand: I am breathing in short; breathing out short, understand: I am breathing out short.
Do not try to regulate your breath in any way. Observe your natural breath as it is.
Be aware of your body as you breathe in and as you breathe out.
Breathe in experiencing the whole body, breathe out experiencing the whole body.
Breathe in tranquilizing the whole body, breathe out tranquilizing the whole body.
Don’t worry if your mind wanders away, gently bring it back and observe your breath.
Ever mindful, breathe in; mindful, breathe out.

SECOND TETRAD (FEELINGS GROUP):
Be aware of your feelings you breathe in and as you breathe out.
Breathe in experiencing your feelings, breathe out experiencing your feelings.
Breathe in experiencing rapture, breathe out experiencing rapture.
Breathe in experiencing pleasure, breathe out experiencing pleasure.
Be aware of your mental processes as you breathe in and as you breathe out.
Breathe in experiencing mental formations, breathe out experiencing mental formations.
Breathe in tranquilizing mental formations, breathe out tranquilizing mental formations.
Ever mindful, breathe in; mindful, breathe out.

THIRD TETRAD (MIND GROUP):
Be aware of your mind as you breathe in and as you breathe out.
Breathe in experiencing the mind, breathe out experiencing the mind.
Breathe in gladdening the mind, breathe out gladdening the mind.
Breathe in concentrating the mind, breathe out concentrating the mind.
Breathe in liberating the mind, breathe out liberating the mind.
Ever mindful, breathe in; mindful, breathe out.

FOURTH TETRAD (WISDOM GROUP)
As you breathe in and as you breathe out, contemplate on the impermanence of physical and mental events.
Breathe in focusing on impermanence, breathe out focusing on impermanence.
As you breathe in and as you breathe out, contemplate on the fading away of formations.
Breathe in focusing on fading away, breathe out focusing on fading away.
As you breathe in and as you breathe out, contemplate on the cessation of suffering.
Breathe in focusing on cessation, breathe out focusing on cessation.
As you breathe in and as you breathe out, contemplate on the giving up of defilements.
Breathe in focusing on relinquishment, breathe out focusing on relinquishment.
Ever mindful, breathe in; mindful, breathe out.

May all beings be happy, be peaceful, be liberated.
Be happy! Stay blessed!
Open your eyes and come out of meditation.




Jagat Singh Bisht

Wednesday, October 16, 2019

Yoga Nidra in a Sitting Posture





How to relax and recharge in a sitting posture at your workplace, airport or park in the quickest possible time during the course of busy day.

#yoganidra #meditation #relaxation #stressmanagement

Yoga Nidra in a Sitting Posture





How to relax and recharge in a sitting posture at your workplace, airport or park in the quickest possible time during the course of busy day.

#yoganidra #meditation #relaxation #stressmanagement

Saturday, October 5, 2019

योग निद्रा : जगत सिंह बिष्ट







अधिकतर लोग अपने तनावों का निराकरण किये बगैर सोते है. इसे
निद्रा या नींद कहते हैं. योग निद्रा का अर्थ है सभी बोझों को उतार कर सोना. योग
निद्रा को आनंदपूर्ण विश्रांति कहा जा सकता है.
योग-निद्रा पूर्ण शारीरिक, मानसिक और भावनात्मक
विश्रांति लाने का एक व्यवस्थित तरीका है.
योग निद्रा के अभ्यास के लिए, आराम से लेट जाएं और
निर्देशों को ध्यानपूर्वक सुनें.
#योगनिद्रा #yoganidra

योग निद्रा : जगत सिंह बिष्ट







अधिकतर लोग अपने तनावों का निराकरण किये बगैर सोते है. इसे
निद्रा या नींद कहते हैं. योग निद्रा का अर्थ है सभी बोझों को उतार कर सोना. योग
निद्रा को आनंदपूर्ण विश्रांति कहा जा सकता है.
योग-निद्रा पूर्ण शारीरिक, मानसिक और भावनात्मक
विश्रांति लाने का एक व्यवस्थित तरीका है.
योग निद्रा के अभ्यास के लिए, आराम से लेट जाएं और
निर्देशों को ध्यानपूर्वक सुनें.
#योगनिद्रा #yoganidra